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Monday, 8 October 2018

मलाल

मैं तुझ सा ना हो पाउँ, कोई गम नहीं
मगर तूं मुझसा भी नही हो पाया, ये मलाल रहेगा..
मैं हांसिल ना कर पाया तुझे, कोई गम नहीं
मगर तूं उठा ही नहीं मुझे पाने को, ये मलाल रहेगा..
तेरी नियत भी बदनीयत हुई, कोई गम नही
मगर तूं बदचलन हो गया, इसका मलाल रहेगा..
तूं खुश है अपनी दुनिया मैं, खुश रह
कोई गम नहीं
मगर मुझे भूलकर खुश हो गया, इसका मलाल रहेगा..
तूने कदर ना की अपनों की, कोई गम नहीं
मगर गैरों पर कुर्बान हो गया, इसका मलाल रहेगा..

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